उड़ उड़ रे उड़ उड़ रे उड़ उड़ रे उड़ उड़ रे ।उड़ उड़ रे म्हारी ज्ञान चुनरियाँतारणहारा प्रभुजी घर आवे, तारणहारा प्रभुजी घर आवे रे आवे ॥टेक॥स्वर्ग पुरी से प्रभु जी पधारे हो ऽऽ… जग को मुक्ति मार्ग बताये।कण कण में… कण कण में छाई है खुशियालीतारणहारा प्रभुजी घर आये… रे आवे तारणहारा प्रभुजी घर आवें ॥१॥समकित सुगन्धी दश दिश महके होऽऽ… चैतन्य परणति पंछी चहके ।दुल्हन सी… दुल्हन सी सजी नगरी प्यारीतारणहारा प्रभुजी घर आये… रे आवे तारणहारा प्रभुजी घर आवें ॥२॥त्रिभुवनपति की शोभा न्यारी होऽऽ… अन्तर परणति निजरस पागी ।मुक्ति का… मुक्ति का मार्ग पाये नर नारीतारणहारा प्रभुजी घर आये… रे आवे तारणहारा प्रभुजी घर आवें ॥३॥