पडिसमयगपरिणामा णिव्वग्गणसमयमेत्तंखंडकमा
अहियकमा हु विसेसे मुहुत्तअंतो हु पडिभागो ॥44॥
अन्वयार्थ : [णिव्वग्गण] निर्वर्गणा काण्ड के [समयमेत्तं] समय मात्र के समान [पडिसमयग] प्रति समय के [परिणामा] परिणामों के [कमा] क्रमश: खंड [अहियकमा] अधिक क्रम वाले [हु] होते है । यहां [विसेसे] विशेष को प्राप्त करने का [पडिभागो] प्रतिभाग [मुहुत्तअंतो] अन्तर्मुर्हूत प्रमाण काल [हु] है ।
बोधिनी
बोधिनी : प्रतिसमयगपरिणामा, निर्वर्गंणसमयमात्र खंड क्रमा;;अधिकक्रमा हि विशेषे मुहूर्तातहिं प्रतिभाग: ॥
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