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उपशम श्रेणी के सत्व में 24 स्थान और भंग

  विशेष 

विशेष :


उपशम श्रेणी के सत्व में 24 स्थान और भंग कुल
अनंतानुबंधी के सत्व सहित अनंतानुबंधी विसंयोजक क्षायिक सम्यक्त्वी
तीर्थंकर, आहारक-४ सहित बद्धायुष्क स्थान 146 142 (-अनंतानुबंधी ४) 139 (-३ दर्शन-मोहनीय)
भंग 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 3
अबद्धायुष्क स्थान 145 141 138
भंग 1 (भु. मनुष्यायु) 1 (भु. मनुष्यायु) 1 (भु. मनुष्यायु) 3
तीर्थंकर रहित, आहारक चतुष्क सहित बद्धायुष्क स्थान 145 (-2 आयु [तिर्यञ्च-नरक], तीर्थंकर) 141 (145-अनंतानुबंधी ४) 138 (141-३ दर्शन-मोहनीय)
भंग 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 3
अबद्धायुष्क स्थान 144 140 137
भंग 1 (भु. मनुष्यायु) 1 (भु. मनुष्यायु) 1 (भु. मनुष्यायु) 3
तीर्थंकर सहित, आहारक चतुष्क रहित बद्धायुष्क स्थान 142 (-2 आयु [तिर्यञ्च-नरक], आहारक ४) 138 (142-अनंतानुबंधी ४) 135 (138-३ दर्शनमोहनीय)
भंग 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 3
अबद्धायुष्क स्थान 141 (-3 आयु [तिर्यञ्च-नरक,देव], आहारक ४) 137 (141-अनंतानुबंधी ४) 134 (137-३ दर्शनमोहनीय)
भंग 1 (भु. मनुष्यायु) 1 (भु. मनुष्यायु) 1 (भु. मनुष्यायु) 3
तीर्थंकर, आहारक-४ रहित बद्धायुष्क स्थान 141 (-2 आयु [तिर्यञ्च-नरक], आहारक ४, तीर्थंकर) 137 (141-अनंतानुबंधी ४) 134 (137-३ दर्शन-मोहनीय)
भंग 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 1 (भु. मनुष्यायु ब. देवायु) 3
अबद्धायुष्क स्थान 140 136 133
भंग 1 (भु. मनुष्यायु) 1 (भु. मनुष्यायु) 1 (भु. मनुष्यायु) 3
उपशम श्रेणी के सभी गुणस्थानों के लिए भंग समान हैं